दिनांक 09 दिसम्बर 2019
दिन - सोमवार
विक्रम संवत - 2076
शक संवत - 1941
अयन - दक्षिणायन
ऋतु - हेमंत
मास - मार्गशीर्ष
पक्ष - शुक्ल
तिथि - द्वादशी सुबह 09:54 तक तत्पश्चात त्रयोदशी
नक्षत्र - भरणी 10 दिसम्बर प्रातः 05:05 तक तत्पश्चात कृत्तिका
योग - परिघ शाम 05:18 तक तत्पश्चात शिव
राहुकाल - सुबह 08:20 से सुबह 09:40 तक
सूर्योदय - 07:05
सूर्यास्त - 17:56
दिशाशूल - पूर्व दिशा में
व्रत पर्व विवरण -
सोमप्रदोष व्रत, अखंड द्वादशी
विशेष -
द्वादशी को पूतिका(पोई) अथवा त्रयोदशी को बैंगन खाने से पुत्र का नाश होता है।(ब्रह्मवैवर्त पुराण, ब्रह्म खंडः 27.29-34)
पिशाच मोचिनी तिथि (श्राद्ध)
पिशाचमोचन श्राद्ध तिथिः मार्गशीर्ष शुक्ल चतुर्दशी जो इस वर्ष 10 दिसम्बर 2019 मंगलवार को सुबह 10:45 से 11 दिसम्बर बुधवार को सुबह 10:59 तक मार्गशीर्ष शुक्ल चतुर्दशी है।
इस दिन प्रेत योनि को प्राप्त जीवों (पूर्वजों) के निमित्त तर्पण आदि करने से उनकी सदगति होती है |जिनके घर-परिवार, आस-पडोस या परिचय में किसी की अकाल मृत्यु हुई हो या कोई भूत-प्रेत अथवा पितृबाधा से पीड़ित हो, वे पिशाच मोचिनी तिथि को उनकी सदगति, आत्मशांति और मुक्ति के लिए संकल्प करके श्राद्ध - तर्पण अवश्य करें | भूत-प्रेतादिक से ग्रस्त व्यक्ति इसे अवश्य करें |
विधिः प्रातः स्नान के बाद दक्षिणमुख होकर बैठें। तिलक, आचमन आदि के बाद पीतल या ताँबे के थाल अथवा तपेली आदि मे पानी लें। उसमें दूध, दही, घी, शक्कर, शहद, कुम -कुम, अक्षत, तिल, कुश मिलाकर रखें। हाथ में शुद्ध जल लेकर संकल्प करें कि ʹअमुक व्यक्ति (नाम) के प्रेतत्व निवारण हेतु हम आज पिशाचमोचन श्राद्ध तिथि को यह पिशाचमोचन श्राद्ध कर रहे हैं।ʹ हाथ का जल जमीन पर छोड़ दें। फिर थोड़े काले तिल अपने चारों ओर जमीन पर छिड़क दें कि भगवान विष्णु हमारे श्राद्ध की असुरों से रक्षा करें। अब अनामिका उँगली में कुश की अँगूठी पहनकर (ʹૐ अर्यमायै नमःʹ) मंत्र बोलते हुए पितृतीर्थ से 108 तर्पण करें अर्थात् थाल में से दोनों हाथों की अंजली भर-भर के पानी लें एवं दायें हाथ की तर्जनी उँगली व अँगूठे के बीच से गिरे, इस प्रकार उसी पात्र में डालते रहें। ( तर्पण पीतल या ताँबे के थाल अथवा तपेली में बनाकर रखे जल से करना है।)
108 तर्पण हो जाने के बाद दायें हाथ में शुद्ध जल लेकर संकल्प करें कि सर्व प्रेतात्माओं की सदगति के निमित्त किया गया, यह तर्पण कार्य भगवान नारायण के श्रीचरणों में समर्पित है। फिर तनिक शांत होकर भगवद्-शांति में बैठें। बाद में तर्पण के जल को पीपल में चढ़ा दें।
मार्गशीर्ष मास की शुक्ल मास चतुर्दशी
मस्त्यपुराण कहता है कि - मार्गशीर्ष मास शुक्ल पक्ष चतुर्दशी तिथि के दिन अगर कोई शिवजी का १७ नामों से पूजन करे या वो १७ मंत्र बोलकर उनको प्रणाम करे | जो शिव है वो गुरु है और जो गुरु है वो शिव है | अपने गुरुदेव का भी स्मरण करते करते करें , तो भी उन तक पहुँच जाता है | और ज्यादा किसी को समस्या है वो विशेष रूप से, १७ नाम मस्त्यपुराण में बताया है | उसी दिन खास महिमा है उसकी, मार्गशीर्ष मास के बारे में जानते होंगे, जो भगवत गीता पाठ करते हैं | तो भगवान ने गीता के १० वे अध्याय में कहाँ है – 'मासा नाम मार्गशीर्षोंहम' की जो मार्गशीर्ष मास में भगवान ने अपनी विभूति बताया और उसमे शुक्ल पक्ष की चतुर्दशी |
१७ नाम इस प्रकार
१) ॐ शिवाय नम:
२) ॐ सर्वात्मने नम:
३) ॐ त्रिनेत्राय नम:
४) ॐ हराय नम:
५) ॐ इन्द्र्मुखाय नम:
६) ॐ श्रीकंठाय नम:
७) ॐ सत्योजाताय नम:
८) *ॐ वामदेवाय नम:*
९) ॐ अघोरहृदयाय नम:
१०) ॐ तत्पुरुषाय नम:
११) ॐ ईशानाय नम:
१२) ॐ अनंतधर्माय नम:
१३) ॐ ज्ञानभुताय नम:
१४) ॐ अनंतवैराग्यसिंघाय नम:
१५) ॐ प्रधानाय नम:*
१६) ॐ व्योमात्मने नम:*
१७) ॐ युक्तकेशात्मरूपाय नम:
तो जिनको जीवन में कष्ट आदि हैं उनको दूर करने में मदद मिलती है | और दो नाम पार्वतीजी के बोलेंगे उसी दिन – ॐ पुष्ट्ये नम: , ॐ तुष्टये नम: माँ पार्वती को नमन करके ये दो मंत्र उस दिन बोले की मैं श्रद्धा और भक्ति से पुष्ट बनूँ क्योंकि पार्वतीजी 'भवानी शंकरों वन्दे श्रद्धा विश्वास रुपिनों' आप श्रद्धा की मूर्ति है माँ मैं श्रद्धा से पुष्ट बनूँ मैं गुरुदेव के प्रति विचार रूपी सात्विक श्रद्धा से पुष्ट बनूँ |
शिव गायत्री मंत्र – ॐ तत्पुरुषाय विद्महे | महादेवाय धीमहि, तन्नो रूद्र प्रचोदयात् ।।
पंचक
पंचक तिथि प्रारंभ - 3 दिसम्बर, 12:58 AM पंचक तिथि समाप्त - 8 दिसम्बर, 01:29 AM पर
एकादशी
रविवार, 08 दिसंबर मोक्षदा एकादशी
रविवार, 22 दिसंबर सफला एकादशी
प्रदोष
09 दिसंबर 2019 सोमवार सोम प्रदोष व्रत
23 दिसंबर 2019 सोमवार सोम प्रदोष व्रत
अमावस्या
26 दिसंबर 2019- गुरुवार- पौष अमावस्या।
आज का राशिफल
मेष
: सामाजिक समारोह में शामिल होंगे। आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। आप क्यों दूसरे के मामलों में पड़ते है, नुकसान आपका ही होगा। बिना मांगे अपनी राय न दें। पिता के साथ गंभीर विषय पर चर्चा होगी।
वृषभ
: धार्मिक कार्यों में सहभागिता होगी। समय रहते अपने कार्यों को पूर्ण करें। आपके आलसी रवैये से नुकसान हो सकता है। कारोबार विस्तार के लिए कर्ज लेना पड़ सकता है।
मिथुन
मनचाहा जीवनसाथी मिलने से प्रस्सन होंगे। आपके व्यवहार से लोग आकर्षित होंगे। कार्यस्थल पर पूजा-पाठ में शामिल होंगे। भाई-बहनों से स्नेह मिलेगा। विद्युत उपकरण खरीद सकते हैं।
कर्क
: पूंजी निवेश से अच्छा परिणाम प्राप्त होगा। नए वस्त्रों की प्राप्ति आज हो सकती है। वाहन पर धन खर्च होगा। जरूरतमंद की मदद करें, रुके कार्य बन जाएंगे। भूमि लाभ संभव।
सिंह
कारोबार में नई तकनीक से लाभ होगा। कार्य की अधिकता से तनाव रहेगा। कार्य स्थल पर कर्मचारियों की अनियमिता से परेशान रहेंगे। मन की बात कहने का समय नहीं है।
कन्या
वित्तीय मामलों में दूसरों पर भरोसा न करें। भावनात्मक संबंधों में नजदीकियां बढ़ेगी। किसी भी नए कार्य को करने के पूर्व रणनीति तैयार करें। नौकरी में तरक्की के आसार है।
तुला
: व्यस्त जिन्दगी में कुछ समय अपनों को भी दें। आप मन के साफ हैं, पर किसी को समझाने के लिए नर्मी से पेश आएं। शिक्षा स्थल पर विवाद की स्थिति को टालें। किसी भी कार्य को करने से पहले अपने परिवार के बारे में जरुर सोचें।
वृश्चिक
वही होता है जो भगवान को मंजूर होता है। व्यर्थ की चिंता छोड़ दें और अपने सपने पूरे करने में लग जाएं। आज आकस्मिक धन प्राप्त हो सकता है। कला से लोगों को प्रभावित करेंगे।
धनु
लंबे समय से चले आ रहे विवाद आज सुलझ सकते हैं। संतान सुख संभव। विदेश जाने के योग हैं। जीवनसाथी के सहयोग से कार्य पूर्ण होंगे। किसी के देखा देखी में अपना नुकसान हो सकता है।
मकर
अपने व्यवहार और आचरण बदलें। सब आपके हो जाएंगे। अपने माता-पिता से ऐसा व्यवहार ठीक नहीं है। जैसा व्यवहार आप करेंगे वैसा आपके साथ भी हो सकता है, अपनी भूल सुधारें, लाभ होगा।
कुंभ
परिवार की खिलाफ जा सकते हैं। जल्दबाजी में कुछ फैसले लेने पड़ेंगे। संचित धन का उपयोग सतर्कता पूर्वक करें। नई जिम्मेदारी मिलने की संभवाना है। पैर में चोट लग सकती है।
मीन
अपने करियर के प्रति महतवपूर्ण फैसले लेने पड़ेंगे। आर्थिक पक्ष मजबूत होगा। परिवार के साथ लंबी यात्रा के योग है। अच्छे कार्य की शुरुआत बड़ों के आशीर्वाद से हो। विदेश जाने की बाधा दूर हो सकती है।
जिनका आज जन्मदिन है उनको हार्दिक शुभकामनाये
अंक ज्योतिष का सबसे आखरी मूलांक है नौ। आपके जन्मदिन की संख्या भी नौ है। यह मूलांक भूमि पुत्र मंगल के अधिकार में रहता है। आप बेहद साहसी हैं। आपके स्वभाव में एक विशेष प्रकार की तीव्रता पाई जाती है। आप सही मायनो में उत्साह और साहस के प्रतीक हैं। मंगल ग्रहों में सेनापति माना जाता है। अत: आप में स्वाभाविक रूप से नेतृत्त्व की क्षमता पाई जाती है। लेकिन आपको बुद्धिमान नहीं माना जा सकता। मंगल के मूलांक वाले चालाक और चंचल भी होते हैं। आपको लड़ाई-झगड़ों में भी विशेष आनंद आता है। आपको विचित्र साहसिक व्यक्ति कहा जा सकता है।
शुभ दिनांक : 9, 18, 27
शुभ अंक : 1, 2, 5, 9, 27, 72
शुभ वर्ष : 2017, 2017, 2025, 2036, 2045
ईष्टदेव : हनुमान जी, मां दुर्गा।
शुभ रंग : लाल, केसरिया, पीला
कैसा रहेगा यह वर्ष
अपनी शक्ति का सदुपयोग कर प्रगति की और अग्रसर होंगे। पारिवारिक विवाद सुलझेंगे। महत्वपूर्ण कार्य योजनाओं में सफलता मिलेगी। अधिकार क्षेत्र में वृद्धि संभव है। नौकरी में आ रही बाधा दूर होगी। स्वास्थ्य भी ठीक रहेगा। राजनैतिक व्यक्ति सफलता का स्वाद चख सकते हैं। मित्रों स्वजनों का सहयोग मिलने से प्रसन्नता रहेगी।